शेयर बाज़ार की भविष्य में गिरावट : २८ फ़रवरी २०१० तक

शेयर बाज़ार की  भविष्य में गिरावट : २८ फ़रवरी २०१० तक 
आधुनिक समाज की ऐसी परम्परा बन गयी है जिसके  माध्यम से वो चंदक्षणों में अच्छा धन कमा क़र मालामालहोना चाहते है ,ये सपना वर्तमान समय में हेर युवक युवती का है जो एक विडंबना का विषय है . मालामाल होने की इच्छुक लोग बिना सोचे समझे ही शेयर बाज़ार में भरी जोखिम पर अपना धन व्यये करते हैं फलस्वरूप कई बार कुछ लोगों को बहुत अधिक फायदा होता है कई बार बहुत लोग डूब जाते हैं. ये शेयर बाज़ार के चड़ते उत्तरते भाव पर निर्भर है.जो ज्योतिषय आधार पर प्रतिदिन के ग्रेह गोचर पर निर्भर करता  है. ज्योतिष में रहू व शनि को जनता का कारक माना गया है तथा रहू को ही लोटरी ,सट्टा,काला बाजारी आदि का ग्रेह भी मानते हैं. जो इन दिनों गुरु के नवांश में है. गुरु सूर्य के नवांश में है जो बाज़ार का कारक ग्रेह है. शुक्र जो इन दिनों सूर्य बुध के साथ मंगल की राशी वृश्चक में है नवांश चंदर का है.  शनि कन्या राशी एवं गुरु के नवांश में है. फलस्वरूप गुरु शनि और राहू की स्थिति अच्छी नहीं है इस कारण शेयर बाज़ार में आने वाले दिनों में भरी मात्र में चडाव उत्तार रहेगा .कंपनियों के बेइमनीपूरन रवैयों के कारण जनता के पैसा डूब जाएगा.
१५ दिसम्बर २००९ से गुरु जब शनि की राशी कुम्भ तथा मंगल के नक्षत्र धनीसह्ता में गोचर करेंगे शनि व राहू को सूर्य के नक्षत्र होने के कारण सरकार को शेयर कम्पनिओं के खिलाफ कोई क़ानूनी करवाई करनी पड़ेगी फलस्वरूप नियमों में बदलाव भी संभव है. १५ दिसम्बर के बाद मंगल का गोचर कर्क राशी में तथा बुध के नक्षत्र अश्लेशा में होने के कारण शेयर बाज़ार को लेकर मानसिक तनाव एवं झगरा झंझट होने की संभावना है..इस कारण समाज को व सर्कार को भरी जोखिम उठाना पडेगा. इस दलदल में गरीब लोग पिस जायेंगे तथा धनवानों को ,शेयर कम्पनिओं को अपनी भ्रष्ट नीतियों के कारण भरी मात्र में फायदा होगा.
इसलिये ये आवश्येक है के मिद्दले क्लास लोग शेयर मार्केट में पैसा लगते समय कम्पनी की सही पहचान करें अगर संभव हो तो किसी झूठे प्रलोभन को लेकर धन का अप्वयाया न करें भरी नुक्सान की सम्भावना है. सावधानी बरतें सुखी रहे. 

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