नरकासुर चौदस (छोटी दिवाली) का इतिहास
नरकासुर चौदस (छोटी दिवाली) का इतिहास दिवाली तम अन्धकार का नाश केर प्रकाश देने का नाम है जिसके माध्यम से मानव मात्र का ही नहीं समस्त प्राणी जगत का कल्याण हो दिवाली पर्व धनतेरस से लेकर अमावस्या तक मनाया जाता है .जिस पर प्रत्येक दिन का अपना अलग इतिहास है नरकासुर चौदस जिसे लोग छोटी दिवाली के नाम से जानते हैं ,का इतिहास भगवान् श्रीकृष्ण के चरित्र से जुड़ा हुआ है .भगवत के मतानुसार द्वापर के अंतिम चरण में भामसुर नाम का असुर हुआ जिसनें अपनी वासनाओं की शांति हेतु १६१०० ऋषि एवं ब्रहम कन्याओं को अपनें कारवास में दल दिया था .पृथ्वी के जागृत मनुष्य तथा भूपति आदि भामासुर को हरानें में नतमस्तक हो गए .इसके बाद देवताओं के राजा इंद्र को भारी चिंता हुई भामासुर के अत्याचार से पृथ्वी पर भ्रष्टाचार अपनी चरम सीमा पर था जिसको नष्ट करना देवेन्द्र को भी कड़ी चुनौती थी देवेन्द्र नें भगवान् श्रीकृष्ण से भामासुर के अत्याचार को समाप्त करने तथा ब्रह्मण एवं ऋषि कन्याओं को मुक्त करने हेतु द्वारका पहुँच के निवेदन किया ,देवेन्द्र के प्रस्ताव को स्वीकार कर भगवान् श्रीकृष्ण नें भामासुर पर आक्...